उपेन्द्र, चिराग और मांझी के बयानों ने सीट शेयरिंग को किया पेचीदा, एलान कल तक टाला गया
Highlights:
- बिहार विधानसभा चुनाव के पहले चरण के लिए नामांकन प्रक्रिया शुरू
- NDA में सीट बंटवारा अभी फाइनल नहीं, बयानबाजी ने राजनीति गर्माई
- उपेन्द्र कुशवाहा: “बैठक दिल्ली में होगी, अभी कोई अंतिम फैसला नहीं”
- चिराग पासवान: अपनी पार्टी के लिए ज्यादा सीटों की मांग, फैसला बाद में
- जीतन राम मांझी ने 15 सीटों की मांग की, लेकिन अनुशासन बनाए रखने का आश्वासन दिया
- बीजेपी–JDU नेताओं को सहयोगियों को मनाना चुनौतीपूर्ण, आज का एलान कल तक टाल दिया गया
विस्तार:
पटना- बिहार विधानसभा चुनाव के पहले चरण के लिए नामांकन प्रक्रिया शुरू हो गई है, लेकिन NDA में सीटों का बंटवारा अभी तक फाइनल नहीं हो पाया है। शुक्रवार को बीजेपी के नेताओं ने मीडिया से कहा कि सीट बंटवारा फाइनल हो गया है और शनिवार को एलान होगा, लेकिन शनिवार की सुबह से सहयोगी नेताओं के बयानों ने इस स्थिति को पेचीदा बना दिया।
राष्ट्रीय लोक मोर्चा (RLP) के प्रमुख उपेन्द्र कुशवाहा ने स्पष्ट किया कि बातचीत अभी पूरी नहीं हुई है और अंतिम फैसला दिल्ली में होगा। वहीं, चिराग पासवान अपनी पार्टी के लिए ज्यादा सीटों की मांग कर रहे हैं, जिससे बीजेपी–JDU के लिए चुनौती बढ़ गई है। मीडिया से बातचीत में चिराग ने कहा कि वे जल्द ही NDA के बड़े नेताओं के साथ बैठक कर निर्णय लेंगे। पूर्व मुख्यमंत्री और HAM प्रमुख जीतन राम मांझी ने 15 सीटों की मांग रखी, लेकिन अनुशासन बनाए रखने का आश्वासन दिया। राजनीतिक विश्लेषकों के अनुसार उपेन्द्र, चिराग और मांझी की मांगों और रुख से NDA के सीट बंटवारे में पेच फंसा हुआ है।
बीजेपी सहयोगियों को मनाने के लिए लगातार प्रयास कर रही है, ताकि महागठबंधन के खिलाफ सीधे मुकाबला किया जा सके। इसी कारण से शनिवार को होने वाला सीट बंटवारे का एलान रविवार तक के लिए टाल दिया गया। बीजेपी अध्यक्ष जेपी नड्डा और गृह मंत्री अमित शाह खुद बिहार में इस प्रक्रिया की निगरानी कर रहे हैं। विश्लेषकों का कहना है कि अगर उपेन्द्र, चिराग और मांझी को मनाया नहीं गया तो NDA को चुनाव में नुकसान हो सकता है। 2020 विधानसभा चुनाव में चिराग के अलग चुनाव लड़ने के अनुभव से यह बात और स्पष्ट हो गई है कि इन नेताओं का खेल निर्णायक साबित हो सकता है।
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